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हृदय के उदगारों को शब्द रूप प्रदान करना शायद हृदय की ही आवश्यकता है.

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Wednesday, April 30, 2014

Tinke sa Mera Pyar तिनके सा मेरा प्यार


भूल  जायेगा  कुछ  दिनों  में  जग  ये 
निशान  मिट  जायेंगे  मेरे, दिमागों  से
पर,  हमराज,  तुम्हारे  मन  मस्तिक्ष  से
अब  चाहो  भी  तो  तुम  नही  भुला  सकोगे 
जानते हो, मैंने  बेहद  प्यार  किया  है  तुमसे
वो  तरु,  तुमने  रोपा, प्रेम-जीवन  दिया  जिसे
तिनके  सा  सही  तुम्हारे  लिए  वो  नेह  सुनो  मेरे 
पर,  तुम्हारी  हृदयधारा  में  वो  तिनका  डूबेगा  कैसे
तैरता  रहेगा  अनवरत  सिंचकर  'प्रीति'   के  हृदयलहू  से
1.50pm, 23 mar, 14

Wednesday, April 23, 2014

Tum mera jahan तुम मेरा जहां



सुनो 
मेरे  सारा  जहां  हो
जब  मैं  कहती  हूँ 
तो  ये  नही  अर्थ  कि  मेरा  जीवन  वीराना  है
आंगन  में  तुलसी  जहाँ  होती  है
वहीँ  गुलाब  चमेली  सदाबहार  भी  खिलते  हैं
तितलियाँ  पंख  फैलाये  इतराती  हैं
तो  भंवरें  भी  गुन  गुन  करते  हैं
पंछी  भी  मेरे  आंगन  में  उतरते   हैं
दाना  चुगते  हैं  उड़  जाते  हैं
वो  वृक्ष  भी  हैं  जो  छाँव  देते  हैं
पवन  मेरी  लटों  में  उलझना  चाहते  हैं
वो  मेघ  घड़ी  भर  को  बरसते  हैं
ये  सब  मेरे  जीवन  का  हिस्सा  हैं
मेरे  अपने  मेरे  लिए  मूल्यवान  हैं
तुमसे   हाँ  तुमसे  इतना  कहना  है 
उजाला  तो  मेरे  चारों  ओर  है 
दिल  का  आंगन  तुमसे प्रकाशित  है
शरीर  में हृदय, रक्त, धमनियां  हैं
सांसें  तुमसे  ही  चलती  हैं
सब  बातों  का  सार  यही  है
जब  मैं  कहती  हूँ 
मेरे  सारा  जहां  हो
सुनो 

5.30 pm, 13 march, 14

Friday, April 4, 2014

mere hridaymohna मेरे हृदयमोहना



photo from google 
उसने  कहा  राधा  सा  प्यार   करती  हो 
तो  फिर  कन्हैया  सा  रास  रचाऊंगा  मैं
कैसे  मानूँ  बाँटना  अपने  कान्हा  को  मैं
चलो  कामेसी कृपा  से  तुम्हे  कहती  हूँ,  हाँ
मान  लिया  कि  तुम  गोपियों  का  संग  करो


रास  रचैया बनने  की  सोचे  हो
तो  एक  बात  मेरी  होगी  तुम्हे  रखनी 
करोगे  किया  गोपाला   ने  जो  तुम  भी  वही 
रहोगे,  नही  तो,  सिर्फ  मुझ  कान्ता  के  कंत 
कहा कृष्णप्रिया  ने क्या  मेरे  हृदयमोहना  सुनो  


गोपियों  के  मदन  थे वृंदावन  में  तो
रानियां  भी  कई  रही  द्वारकाधीश  की
एक  छवि  मनमोहन  की  राधा  संग  निस  दिन  थी
हर  रानी  के साथ  हरपल  तन  मन  से  रहे  मुरलीधर
तुम  भी  ऐसे  मेरे  संग  हरपल  तन  मन  से  रहो  तो  करो



6.02pm, 21 mar, 14
Kamesi -Lord Krishna’s amorous queen